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Dundhada Dev - दुंढाड़ा देव

 Dundhada Dev !!

Bhajan Lyrics in hindi - https://bhajan-hindilyrics.blogspot.com
Bhajan Lyrics in hindi

दुंढाड़ा देव

दुंढाड़ा देव विघ्नहरण लम्बोदर नाम तमारु
सौ करता देव शुध बुध ना स्वामी ने चरणे लागु।।

गजमुख सनमुखना छो स्वामी]
घणु रुप दिसे तमने स्वामी]
दुखड़ा---ताड़ो अंतरयामी-----हे वाला---।1।

मुखडु सिंदूर थी छे रातू]
लई लाडू सूंढ वड़े खादु]
तारु रुप---दिसे छे मदमातु-----हे वाला---।2।

तारी चार भुजा छे रुपाड़ी]
तेने कमण्डल अंकुश पर शिशधारी]
चौथे---कर पंकज जपमाणी-----हे वाला---।3।

मस्तक मुकटे हीरा झलके]
बे काने मुक्ता फल लटके]
भाले---तिलक सुन्दर झलके-----हे वाला---।4।

तारु उंदर वाहन रुपाणु]
दिसे छे काजल सम काणु]
तेने हृदय---कमलमा नित राखो-----हे वाला---।5।

तारी रिद्धि सिद्धि बे नारी,
छे खेम कुशलनी करनारी,
जेनी वाणी---थी माँ सरस्वती हारी-----हे वाला---।6।

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Bhajan Lyrics in hindi - हिन्दी व सरल भाषा में भजन लिरिक्स 

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